(एस.एच.रजा रै चित्रां सूं अेकमेक हुवतै थकां)

बिन्दू गावै—

ओळूं रा राग

अंतविहूण आभौ

गोळ घेरै मांय

बणावै रूप गोठ।

दीठ मांय बसै—

रेखावां मांय पसरया

हरा, लाल, पीळा

अर

धोळा- काळा रंग

बिन्दू बांटै

उजास री सीरणी।

स्रोत
  • पोथी : दीठ रै पार ,
  • सिरजक : राजेश कुमार व्यास ,
  • प्रकाशक : बोधि प्रकाशन
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