Anjas

अंजस कांई?

अंजस राजस्थान री कला, साहित्य अर संस्कृति रो कोस है जिणमें सामिल है— कविता, कथा, कहाणी, बातां, ख्यातां अर लोक रो फूटरापौ। आ खेचळ रेख्ता फाउंडेशन कीन्ही है।

अंजस रा अंग

अबार इण खेचळ रा कैई न्यारा-न्यारा अंग है:

  • Anjas जूनौ कोस: 13वीं सदी सूं ले’र 19वीं सदी रै लिखित साहित्य रो कोस।
  • Anjas नूवौ कोस: सन् 1900 सूं आज तांई री लिख्योड़ै साहित्य रो कोस।
  • Anjas वाचिक परंपरावां रो कोस जिण मांय सामिल रैसी लोक कथा, लोक गीत, औखाणा, संस्मरण इत्याद।
  • Anjas अंजस महोत्सव: राजस्थानी भासा अर साहित्य रो वार्षिकोत्सव।

भविख री बाट

अंजस राजस्थानी भासा रो सगळा सूं लूंठो कोस बण’र त्यार होवैला अेड़ी आसा है। ओ कोस राजस्थानी पाठक वर्ग नै पूरै रूप सूं बिन्या कोई पैसां रै सब जिग्यां उपलब्ध रैवैला। आ खेचळ कितरी सारथक होवै इण बात री साख तो राजस्थानी रो आखौ पाठक वर्ग तै करेला, पण आपरी सिमरधता रै साथै जारी राजस्थानी रो पैलो उपक्रम है।