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नूवी पीढ़ी री कवयित्री। समीक्षा अर संपादन रै छेतर मांय सक्रिय।
डिंगल रा घण महताऊ रीति ग्रंथ 'रघुनाथ रूपक' रा सिरजक रै रूप में चावा।
चावा कहाणीकार। कविकर्म ई साम्ही आवै।
राजस्थानी रा युवा कवि।
चावा कवि-अनुवादक।