डूंगरपुर रा रचनाकार
कुल: 21
कुल: 21
रचनावां में वागड़ अंचल री मठोठ। कवि सम्मेलनां में निरवाळी छाप। राजस्थान साहित्य अकादमी सूं सम्मानित।
वागड़ री मीरां रै नांव सूं ओळखीजै। रचनावां में ज्ञान, भगती अर वैराग री महिमा बताइज्योड़ी है। भाषा राजस्थानी जिण में ब्रज, गुजराती अर संस्कृत रा शब्द भी निंगै आवै।
संत कवि अर समाज सुधारक। अवतारी पुरुष रै रूप में पुजीजै। 'निष्कलंकी संप्रदाय' रा संस्थापक। रचनावां अर शिक्षावां रो संग्रै 'चौपड़ो' कहिजै।