अेक-अेक तिणकलो चुग'र
आलणो बणावती
चिड़कली नीं जाणै
मिनख री भांत
कियां
उजाड्या जावै आळा?
और तो और
वा आ ई नीं जाणै
कै कियां कर्यो जावै
मातम उजड़ण रो
अर किण कनै सूं
मांग्यो जावै मुआवजो।
वा जाणै तो फगत
पाछो अेक-अेक तिणकलो चुगणो
अर आलणो बणावणो....
लगोलग....
अणथक....।