माळीड़ा, मत चूंट फूल तो
आपै ही कुमळासी
घड़ी स्यात अै और मुळकळै
फेर कदे ना आसी
लेज्या पूजा थाळ आज तो
खाली ही निरमोही
सुण ले साची बात बताई
आगै तनैं न कोई
झरै जठै ही प्रभू रा पग है
तपै बठै ही कासी
नास कर्यां सूं हुवै बावळा
कद राजी अविनासी
माळीड़ा मत चूंट फूल तो
आपै ही कुमळासी
घड़ी स्यात अै और मुळकलै
फेर कदे ना आसी
मर्या निरदई सगळा पाछा
कांटा बण-बण आवै
झर न सकै बै साथ फूल रै
कर्या पाप भुगतावै
फेर कर्यां पिसतावो गूंगा
कद छूटै चौरासी
चेत मानख जोत जगा लै
रातड़ली घुळ जासी
माळीड़ा, मत चूंट फूल तो
आपै ही कुमळासी
घड़ी स्यात अै और मुळकळै
फेर कदे ना आसी