
जयपुर संभाग रा कवि
जयपुर संभाग (जयपुर, दौसा, सीकर, अलवर, झुंझुनू)रै साहित्यकारां रो टाळवो साहित्य-संग्रै।)
जयपुर संभाग (जयपुर, दौसा, सीकर, अलवर, झुंझुनू)रै साहित्यकारां रो टाळवो साहित्य-संग्रै।)
सुपरिचित कवयित्री।
सुपरिचित कवयित्री।
नूवी पीढ़ी री कवयित्री।
चावा कवि-गीतकार। कविता मांय हास्य पुट सारु निरवाळी पिछाण।
ढूंढाड़ी रा लूंठा गीतकार। गीतां में सिणगार रस सारु खास पिछाण।
ढूंढाड़ी रा ख्यातनांव हास्य-कवि।
नूवी पीढ़ी री कवयित्री।
सिरैनांव कवि। तेजसिंह जोधा सम्पादित 'राजस्थानी-१ में सामिल कवि।
चावा कवि-गद्यकार।
शेखावाटी खेतर रा मीठा गीतकार। मंचा माथै न्यारै-निरवाळै अंदाज सूं खास पिछाण।
सिरैनांव गीतकार। गीतां में सिणगार रस री जाजी सौरम।
सिरैनांव कवि-गद्यकार। राजस्थानी में अेक समै तांई लगोलग लेखन।
इण सदी रा कवि-लेखक।
चावा लेखक-संपादक।
सिरैनांव कवयित्री-संपादक।
चावा साहित्यकार। ‘मरू-मंगळ’ माथे केंद्रीय साहित्य अकादमी पुरस्कार।
नूवी पीढ़ी री कवयित्री।
राजस्थानी गज़ल अर सोरठां पर खास पकड़। आसै-पासै री विडरूपतावां पर लेखन रै मारफत चोट मारता निगै आवै।
इण सदी री कवयित्री।
नानूराम संस्कर्ता री साहित्य परम्परा नै आगै बधावता लगोलग लेखन में लाग्योड़ा है। राजस्थानी कविता संग्रह 'खोयोड़ै समदर रा सुपना' नै लेय'र चरचावां में।
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