गणेशीलाल व्यास 'उस्ताद'
जनकवि री छवि। सुतंतरता पछै रै मो'भंग रा आगीवाण कवि।
जनकवि री छवि। सुतंतरता पछै रै मो'भंग रा आगीवाण कवि।
उपनाम: उस्ताद
जन्म: 21 Mar 1907 | जोधपुर,भारत
निधन: 29 Oct 1965
राजस्थानी भासा री प्रगतिशील कविता रा समरथ कवि गणेशीलाल व्यास ‘उस्ताद’ रौ जलम जोधपुर में हुयौ। वांरा पिताजी चन्द्रभाणजी व्यास (गुडोळजी) काव्य अर संगीत रा पारखी हा अर उस्ताद नैं अै गुण वां सूं ईज मिल्या। वांरी भणाई तो तीजी-चोथी किलास तांई ही पण आपरै मन-मतै पोथ्यां बांच-बांच’र उस्ताद साहित्य, राजनीति अर दरसण रो ऊंडो ग्यान हासिल कर्यो अर अेम. अे. रै छात्रां नैं भणाया। राजस्थानी भासा रै अलावा उस्ताद नैं हिंदी, आंग्ल अर उर्दू भासा रौ ई मोकळो ग्यान हो, आं तीनूं भासावां में वै लिखता भी। ‘उस्ताद’ आपरै पिताजी रै सागै मुंबई गया। उठै ‘बॉम्बे क्रानिकल’ अर ‘प्रिंसली इंडिया’ जैड़ै चावै समाचार-पत्रां में काम कर्यो। इण पछै ‘उस्ताद’ री कलम रो पाणी दिल्ली रै ‘अर्जुन’, आगरा रै ‘सैनिक’, मुंबई रै ‘अखंड भारत’, ब्यावर रै ‘तरूण राजस्थान’, जोधपुर रै ‘रियासती’, ‘जन्मभूमि’ अर ‘कल की दुनिया’ आद मोकळी पत्र-पत्रिकावां में चमक्यो अर कलम री तीखी धार उस्ताद नैं केई बार जेळ-जातरा करवाय दी। ‘उस्ताद’ री दोयेक पोथ्यां जपत ई हुयी।