दुनिया रा जद् सुपणा सुण्यां,
म्है बी सुपना री सोची,
लोग कियां, सुपना मांय,
राजा, रानी, परियां आंव,
भांत-भांत री गाड़ी मोटर, घड़िया आव,
म्हैं कियो, या दुनियां झूठी
झूठी बात बता’व,
म्हैं मींचा तो म्हाने क्यूं,
उघाडै तन, हाथ में रोटी रो टूकड़ो लियां,
बळबळाती लाय में, उभाणा पगा
बिलखता टाबर क्यूं दिखै।