म्हां साथ सहेलियां बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां।
पाणी नै निकळी बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां॥

आभा री इंडोणी लीली,
माथै आसा मटकी दीनी,
सुर-मारग पगदंडी कीनी,
तेज तिमिर नै जोड़ बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां।
मन चिन्ता नै छोड़ बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां॥

माथै टीको तारां टमके,
बेणी री बिजड़ली दमके,
झरणां रा झांझरिया झणके,
पहरियो सतरंगो चीर बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां।
लायो दिनकर वीर बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां॥

मेंदी राची मूमळियां,
गीत गावै डेडरियां
नाचै मोर ढेलड़ियां
पपीया मीठा बोल बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां।
धन गरजे ज्यूं ढोल बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां॥

गागर सूं मोतीड़ा छळकै
तीसी धरती देखर मुळकै
नद नाठां जोरां सूं खळकै
धाण पिव ने अकुलाय बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां।
हिवड़ों झोळा खाय बेनड़ल्या, झरमर झरमर झरमरियां॥

कठैक धूप अर कठैक छांव,
घूमर रमता देतां दांव,
दिन दौपारां होवै सांझ,
करसो जोवै बाट बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां।
घणां मजा रा ठाठ बेनड़ल्यां, झरमर झरमर झरमरियां॥
स्रोत
  • पोथी : राजस्थली ,
  • सिरजक : गोवर्धन शर्मा ,
  • संपादक : श्याम महर्षि
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