समदर रह मुरजाद में, ज्वार किता आ जाय।
छोटा छीलर ऊझळै, थोड़ी छांटां मांय॥
इळ पर मानीजै इतो, चातर पंछी काग।
सेवै इंडा कोयलां, इतरो कुळ में दाग॥
जद तांईं जळ जोर है, सरवर तेरी पूछ।
पींदो ठाली देखतां, करसी पंछी कूच॥
चट चुगाय चिड़कोलियां, फंदै लीधी फांद।
जाणूं मरद बहेलिया, बाजां लेवै बांध॥
बांदर दळ भेळो हुयां, डाळां आसण जोय।
दांतरियां आदर हुवै, बटकां मेळो होय॥
माड़ो जाबक माछरा, कांई गिणत करांह।
कर ललकारो खावतां, हिम्मत देख सरांह॥
अंदकंद रहले अमित, अपणै मन में ऊंठ।
हाथी सामै हालतां, छूटै सारी झूंठ॥
डूंगो डैर डरावणो, आंधी मेह उचाळ।
भटका खासी एकलो, पंथी साथ संभाल॥
राही रोक्यां बांवळी, कांटां मारग पूर।
छिणेक छांह न फळ दियो, धिरक जमारो धूड़॥
पत्तो एक न सांपजै, बिरथा फूल धरै।
किसी धरोहर कैर तूं, कांटां बोझ मरै॥