आदि मंत्र नागपुर गौन भौ पुरोहित को,
दूजे गौन संजय को नीति है विदुर की।
तीजे भी श्रीकृष्ण-गौन मुनि इतिहास कथा,
धारन विराट रूप देखी सभा धर की।
दश हू दिशा के भूप आगम निमंत्रण तैं,
सात ग्यारा क्षोहणी मिली है घर घर की।
आगम उलूक दोनों सैना गौन कुरुक्षेत्र,
रथी संख्या अंबा-कथा नारी भयो नर की॥