थांई क्हो छो-
'कुण लड़ेगो आज को
म्हाभारत?'
तो सांची जाणजो
लड़बाहाळा अरजुण तो
आज भी लड़र्या छै...
पण थांई तोल कोई नै!
किसन जद-जद ई
गीता बांचै छै
अरजुण जा भड़ै छै
कौरवां सूं!
री बात धरतरास्टरां की
तो वै राष्ट्र न होवै
धरतरास्टर तो काल तांई आंधा छा
अर आगे भी आंधा ई रैहगा।