कितरौ आछौ व्हैतो

पंदरै अगस्त

रोजीना व्हैतौ

म्हैं झंडी फैराय’र

गावतौ-गावतौ रोवतौ

देस

बिना बापू

आजाद इज नीं व्हैतौ!

स्रोत
  • पोथी : सावचेत रैणौ है ,
  • सिरजक : मदन डागा ,
  • प्रकाशक : साहित्यागार जयपुर