लाख री चूङी

खपियां

जुङ तो जावै

पण जुङण सारू खटकौ

लारै छोड जावै

कै कमजोर जोड़

कदैई भी तड़क’र टूट सकै।

स्रोत
  • पोथी : आळोच ,
  • सिरजक : डॉ. धनंजया अमरावत ,
  • प्रकाशक : रॉयल पब्लिकेशन, रातानाडा, जोधपुर (राज.) ,
  • संस्करण : प्रथम
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